गिद्धौर/जमुई : गिद्धौर के दिग्विजय सिंह सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र की लचर व्यवस्था आए दिन सुर्खियों में बनी रहती है। ताजा मामला बीते बुधवार, 31 जुलाई की देर रात करीब 10 बजे का है। जहां इलाज के लिए आए मरीज को अस्पताल का सिक्योरिटी गार्ड ऑक्सीजन लगाते नजर आया है। आप इसी से समझ जाइए की सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र का क्या हालात है जिसका कार्य अस्पताल की रक्षा करना है वो लोगो के जान के साथ खिलवाड़ कर रहे है।

प्राप्त जानकारी के अनुसार गिद्धौर प्रखंड के सेवा गांव निवासी अभय रावत की 14 वर्षीय पुत्री रानी कुमारी को तेज सरदर्द और सांस लेने में दिक्कत की समस्या होने पर देर रात दिग्विजय सिंह सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लाया गया था। जहां ड्यूटी पर मौजूद चिकित्सक डॉ. परमानंद ने उसका उपचार शुरू किया। परीक्षण के बाद जब डॉक्टर पुर्जा यानी मेडिकल पर्ची बना रहे थे, इसी दौरान अस्पताल में मौजूद सिक्योरिटी गार्ड ने आकर ऑक्सीजन सिलिंडर मशीन को सेट किया और मरीज को ऑक्सीजन लगाया। सिक्योरिटी गार्ड का नाम प्रमोद गुप्ता उर्फ लालो है। जिसकी नियुक्ति आउटसोर्सिंग एजेंसी के माध्यम से हुई है।
मामले को लेकर प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ अजिमा निशात को बताए जाने पर उन्होंने कहा कि सभी सिक्योरिटी गार्ड को मना कर दिया गया है कि ऑक्सीजन कोई गार्ड नहीं लगाएगा। कुंदन नाम के गार्ड को खास कर के मना कर दिया गया है। कौन गार्ड फिर लगा रहे हैं? देखते हैं जीवन रक्षा में कुछ मदद कर रहे हैं तो वो अलग चीज है, लेकिन उनको हैंडल नहीं करना है। जीएनएम या आईएमटी को हैंडल करना है। फोटो भेज दीजिए। उसपर कार्रवाई करेंगे।
गिद्धौर में आर्मी जवान के परिजनों का आरोप
बता दें कि बीते दिनों गिद्धौर में आर्मी जवान के परिवार की सड़क दुर्घटना हो गई थी। जिसमें जवान की घटनास्थल पर ही मौत हो गई थी। जबकि अन्य परिजनों को घायलावस्था में अस्पताल लाया गया था। परिजनों का आरोप यह है कि आर्मी जवान की घायल बच्ची को अस्पताल के सिक्योरिटी गार्ड के द्वारा ही ऑक्सीजन लगाया गया था, जो की सदर अस्पताल जमुई जाने के क्रम में बिच रास्ते में ही दम तोड़ दिया था और मासूम बच्ची की जान चली गई।
एवीएन न्यूज़ के संवाददाता बिक्की कुमार की रिर्पोट गिद्धौर जमुई :-
