India Gate Details : भारत की वास्तुकला और गौरव को दर्शाने वाला इंडिया गेट दिल्ली की एक प्रमुख पहचान है। यह न केवल भारतीय इतिहास का हिस्सा है, बल्कि शहीद सैनिकों को सम्मानित करने का स्थल भी है।
इंडिया गेट का इतिहास
1. इंडिया गेट का इतिहास
– इंडिया गेट की नींव 10 फरवरी 1921 को ड्यूक ऑफ कनॉट ने रखी थी।
– 12 फरवरी 1931 को इसका उद्घाटन वायसराय लॉर्ड इरविन ने किया था।
– यह प्रथम विश्व युद्ध में मारे गए भारतीय सैनिकों के सम्मान में बना था।
2. वास्तुशिल्प और डिज़ाइन
– इंडिया गेट का डिज़ाइन सर एडविन लुटियंस ने तैयार किया था।
– इंडिया गेट की ऊँचाई 42 मीटर है, और यह पेरिस के ‘आर्क डी ट्रायम्फ’ से प्रेरित है।
– यह लाल भरतपुर पत्थर से निर्मित है और इसकी दीवारों पर उन सैनिकों के नाम अंकित हैं, जिन्होंने विभिन्न युद्धों में अपनी जान दी।
3. अमर जवान ज्योति और सैनिकों का सम्मान
– भारत-पाकिस्तान युद्ध 1971 के बाद अमर जवान ज्योति जोड़ी गई, जो भारतीय सैनिकों की शहादत को श्रद्धांजलि देने के लिए जलती रहती थी।
– अब अमर जवान ज्योति का स्थान बदल दिया गया है, लेकिन यह एक महत्वपूर्ण स्मारक बना हुआ है।
4. राष्ट्र की शान
– गणतंत्र दिवस परेड में भारतीय ध्वज पहले इंडिया गेट पर ही फहराया जाता है।
– यह स्थल भारतीय सेना के शहीदों का प्रतीक है, जिन्होंने देश के लिए सर्वोच्च बलिदान दिया।
5. पर्यटन और आकर्षण
– इंडिया गेट हर साल लाखों पर्यटकों को आकर्षित करता है।
– यह स्थल पिकनिक और परिवारों के लिए एक आदर्श स्थान है, जहां लोग हरे-भरे लॉन पर समय बिता सकते हैं।